जंग हंसाई मुर्ख लोगों कि होती गुरू कृपा से सद्कर्म करें अभिमान टहनी पत्ती चाँदनी आसमाँ पत्ते शाख अबला बांस मधुर सुगंध

Hindi टहनी पर बैठ टहनी काटे Poems